ये कॉलेज लाहौर के हिन्दुओ ने महर्षि दयानंदजी की स्मृति में बनाया था,लिस्ट मे चंदा देने वलो के नाम भी है,पर हिन्दू घटा ओर सबकुछ लूट गया DAV_कॉलेज_लाहौर 1947 तक लाहौर भारत का हिन्दु बहुल सम्पन्न -वैभवशाली और अग्रणी शिक्षित नगर था ।
सन 1886 में लाहौर सहित देश के प्रमुख शहरों के हिंदुओं ने चंदे से
महर्षि दयानंद की स्मृति में बनाया गया।जोधपुर महाराजा जसवंत सिंह जी ने भी सहयोग किया।
जिसने सैकड़ों क्रांतिकारी दिए।जो सम्पूर्ण पंजाब में आधुनिक शिक्षा का वेटिकन बनकर उभरा।
आज उसका नाम गवर्नमेंट इस्लामिया कॉलेज सिविल लाइंस, लाहौर है।
यज्ञशाला के स्थान पर आज मस्जिद बन गई है ओ३म् की जगह 786 ने ले ली है।

अंधेरे में हैं वे लोग जो कहते हैं कि
कुछ बात है कि हस्ती मिटती नहीं हमारी।
अरे मूर्खों !! नींद से जागकर देखो..
कभी ईरान से मलेशिया तक थी बस्ती तुम्हारी..
जरा आंखें खोलकर देखो हस्ती मिटी सिंध,तक्षशिला, कश्मीर से।
हस्ती मिटी ढांका और गांधार से….
इस्लाम का सीधा सिद्धांत है कि “जब तक मैं तुमसे कमजोर रहूँगा, मैं तुम्हारे सिद्धांत के अनुसार अपने लिए हर आजादी की माँग करूँगा। जब मैं तुमसे मजबूत हो जाऊँगा तो अपने सिद्धांत के अनुसार तुम्हारी हर आजादी खत्म कर दूँगा।”यही पिछले १४०० साल से हो रहा है।